Teri Baaton Mein Aisa Uljha Jiya Review शाहिद कपूर और कृति सेनन की साइंस फिक्शन रोमांटिक कॉमेडी फिल्म तेरी बातों में ऐसा उलझा जिया आज सिनेमाघरों में रिलीज हो चुकी है. उम्मीद के मुताबिक चलने वाली इस कहानी में कमजोर स्क्रीनप्ले, लचर क्लाइमेक्स और औसत संवाद इस बात को भी प्रभावी ढंग से बयां नहीं कर पाया है
फ़िल्म- Teri Baaton Mein Aisa Uljha Jiya Review
निर्माता- दिनेश विजन
निर्देशक- अमित जोशी और अनुराधा शाह
कलाकार- शाहिद कपूर, कृति सेनन, धर्मेंद्र, डिंपल कपाड़िया, राकेश बेदी, अनुभा फरेहपुरिया, राजेश कुमार, और अन्य
प्लेटफार्म- सिनेमाघर
रेटिंग- ढाई
Teri Baaton Mein Aisa Uljha Jiya Review वैलेंटाइन वीक में शाहिद कपूर और कृति सेनन की साइंस फिक्शन रोमांटिक कॉमेडी फिल्म तेरी बातों में ऐसा उलझा जिया ने दस्तक दी है. यह एक इंसान और रोबोट की प्रेम कहानी है. इमपॉसिबल सी लगने वाली इस लव स्टोरी में एक अलहदा प्रेम कहानी बनने की पूरी संभावनाएं भी थीं, लेकिन अमित जोशी, आराधना शाह की निर्देशक जोड़ी और लेखन जोड़ी ने इस विषय के साथ सिर्फ़ खानापूर्ति कर दी है.
रजनीकांत की फिल्म रोबोट के रिलीज के लगभग डेढ़ दशक बाद भी इस फिल्म में भी मशीन के सॉफ्टवेर में खराबी के पहलू को ही कहानी के क्लाइमेक्स का आधार बनाया गया है. Teri Baaton Mein Aisa Uljha Jiya Review मशीन से अवास्तविक अपेक्षाएं क्या परिणाम दे सकती है. यह फिल्म भी इसी बात को ही सामने ले आती है, लेकिन उम्मीद के मुताबिक चलने वाली इस कहानी में कमजोर स्क्रीनप्ले, लचर क्लाइमेक्स और औसत संवाद इस बात को भी प्रभावी ढंग से बयां नहीं कर पाया है.
इंसान और रोबोट के प्यार की हार्ट ब्रेकिंग वाली ही है कहानी
फिल्म की कहानी आर्यन (शाहिद कपूर) की है. वह एक महत्वाकांक्षी रोबोटिक इंजीनियर है. उसका अपने काम पर इतना फोकस है कि उसे सपने भी रोबोट से ही शादी के आते है. Teri Baaton Mein Aisa Uljha Jiya Review ऐसा नहीं है कि वह शादी नहीं करना चाहता है, लेकिन उसकी विशलिस्ट अपनी पत्नी के लिए बहुत ही लंबी है. इसी बीच उसकी मौसी (डिम्पल कपाड़िया) अपनी रोबोटिक दुनिया दिखाने के लिए उसे अमेरिका बुलाती है. अमेरिका में उसकी मुलाकात सिफ्रा (कृति सेनन) से होती है.
सिफ्रा परफेक्ट है, वह ना सिर्फ उससे प्रभावित होता है, बल्कि उसके प्यार में भी पड़ जाता है, लेकिन जल्द ही आर्यन के सामने सच्चाई आ जाती है कि कि सिफ्रा एक रोबोट है और उसका दिल टूट जाता है और ‘कबीर सिंह’ वाला मोड ऑन हो जाता है. वह सिफ़्रा को भूलने की नाकाम कोशिश कर रहा होता है और परिवार लगातार उस पर शादी करने का दबाव डाल रहा होता है. आखिरकार आर्यन फैसला कर लेता है कि वह सिफ़्रा से ही शादी करेगा और उसकी रोबोट वाली पहचान छिपाकर अपनी प्रेमिका के रूप में परिवार में पेश करेगा. इंसान और रोबोट की इस प्रेम कहानी का क्या होता है. यही इंटरवल के बाद की पूरी कहानी है. Teri Baaton Mein Aisa Uljha Jiya Review
Also Read: Teri Baaton Mein Aisa Uljha Jiya: रोमांस से लेकर ड्रामा…सबकुछ मिलेगा शाहिद कपूर-कृति सेनन की मूवी में, VIDEO
फिल्म की खूबियां और खामियां
इस फिल्म से निर्देशक के तौर पर अमित जोशी और आराधना साह ने अपनी शुरुआत की है. फिल्म की कहानी भी उनकी ही है. एक इंसान और रोबोट के बीच की अनोखी प्रेम कहानी का कॉन्सेप्ट इस कहानी को दिलचस्प भी बनाता है, लेकिन उसका ट्रीटमेंट दिलचस्प नहीं है. Teri Baaton Mein Aisa Uljha Jiya Review फिल्म में जमकर सिनेमैटिक लिबर्टी ली गई है. Teri Baaton Mein Aisa Uljha Jiya Review आर्यन मशीन के बीच ही रहता है, ऐसे में सिफ़्रा मशीन है. वह कैसे नहीं समझ पाया. दोनों के बीच अंतरंग दृश्य सवाल उठाते है लेकिन सिनेमैटिक लिबर्टी के नाम पर आप उसे अनदेखा कर देना चाहते हैं और यही अनदेखी आगे की कहानी में होती है.
फिल्म इंटरवल के बाद टेलीविजन शो हमारी बहू रजनीकांत की भी कहीं ना कहीं याद दिलाता है. सेकेंड हाफ जबरदस्ती खींचा हुआ जान पड़ता है, जिस तरह से क्लाइमेक्स को फिल्म में जोड़ा गया है. वह थोपा हुआ ज्यादा लगता है. फिल्म के फर्स्ट हाफ में रोमांस और कॉमेडी में ज्यादा फोकस हुआ है,
जिस वजह से वह मनोरंजन करता है. हालांकि एक वक्त के बाद आपको लगता है कि शाहिद के किरदार के सारे जोक उसकी दोस्त की पत्नी के इर्द-गिर्द ही है .फिल्म की सिनेमाटोग्राफ़ी भी औसत रह गई है. साइंस फिक्शन फिल्म से ज़्यादा यह टेलीविज़न के ड्रामा शोन का टच ज्यादा लिये हुए है. फिल्म का गीत-संगीत अच्छा बन पड़ा है. शाहिद के डांसिंग मूव्स उसे और ख़ास बनाते हैं.
कृति और शाहिद का अभिनय है फिल्म की यूएसपी
अभिनय के पहलू की बात करें तो यह इस फिल्म की एकमात्र यूएसपी है. शाहिद कपूर ने अपने किरदार के प्यार, गुस्से, चिढ़ सभी पहलुओं को बखूबी जिया है. अभिनेत्री कृति सिफ्रा के रूप में अपने अभिनय से प्रभावित करती है. एक रोबोट के तौर पर अभिनय करते हुए उन्होंने चेहरे पर जीरो एक्सप्रेशन रखा है, जो निश्चित तौर पर आसान नहीं रहा होगा.
कृति ने ऑन स्क्रीन रोबोट की भूमिका को बहुत ही बारीकी से साकार किया है. क्लाइमेक्स सीन के दौरान उनका परफॉरमेंस एक लेवल और ऊपर जाता है. फिल्म को उनकी और शाहिद की जोड़ी की केमिस्ट्री भी खास बनाती है. अनुभा, राजेश और राकेश बेदी अपनी-अपनी भूमिकाओं में जमे हैं. Teri Baaton Mein Aisa Uljha Jiya Review फिल्म में धर्मेन्द्र और डिम्पल कपाड़िया को करने को कुछ नहीं था. उन्हें ऐसी फिल्मों से बचना चाहिए.